बुधवार, 13 फ़रवरी 2019

मोसुल की लड़कियाँ

बड़ी खूबसूरत हैं मोसुल की लड़कियाँ । 
बिकने को मजबूर हैं,मोसुल की लड़कियाँ । 
क्या दाम हैं , आँखों से करें 
तय तो ज़रा हम ।
कोई नीली हैं
हरी कोई
मोसुल की लड़कियाँ ।
कि , हिज़ाब हटाना 
गुनाह- ए - अज़ीम है । 
लिबास में लिपटी नहीं 
मोसुल की लड़कियाँ ।

कोने में खड़ी 
काँप रहीं , कोस रहीं हैं ।
आतंक के साये में
मोसुल की लड़कियाँ ।
ख़रीदी गई हिसाब से
हर इंच नाप कर ।
और हो गई नापाक फिर 
मोसुल की लड़कियाँ ।
रिहाई उम्मीद थी ,
और उम्मीद रह गई ।
कि हो गई हैं क़ैद 
मोसुल की लड़कियाँ ।

हैं तेल के कुँए 
आँसू की कमी है ।
पानी की कब्रगाह में 
मोसुल की लड़कियाँ ।
और प्यास बुझाते 
खुद रह गईं प्यासी 
बियाबान , बियाबान 
मोसुल की लड़कियाँ । 


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सरस्वती विहार , न्यू डी ब्लॉक , लेन नम्बर-,अजबपुर खुर्द ,देहरादून ।

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