डॉ.कविता भट्ट 'शैलपुत्री'
जान भी लोगे तो क्या करोगे.शीर्षक आकर्षित करता है,सम्पूर्ण कविता में अभिव्यक्त पीड़ा और प्रश्न व्यथित करते हैं।सशक्त व्यंजना।बधाई कविता भट्ट जी।
मन की पीड़ा को सशक्त शब्दों में बयाँ किया है ...
यदि जान भी लोगे तो क्या कर लोगे।बहुत ही सशक्त भावाभिव्यक्ति।हार्दिक बधाई आदरणीया दीदी को।सादर 🙏🏻
आपकी लिखी रचना सोमवार. 20 दिसंबर 2021 को पांच लिंकों का आनंद पर... साझा की गई है आप भी सादर आमंत्रित हैं।सादरधन्यवाद।
बहुत सुंदर अभिव्यक्ति।
बहुत खूब
गहन भाव उकेरे हैं मर्मस्पर्शी सृजन।सादर।
सटीक सार्थक, जान भी लो मान भी लो तो क्या हो जायेगा।सत्य और सत्य।अभिनव सृजन।
सटीक कहा है आपने..क्या ही कर लेंगे इन सबका..लाजवाब सृजनवाह!!!
बहुत सुंदर अभिव्यक्ति हकीकत से रूबरू कराती हुई
सच में सब जानकर भी कौन स्थिति बदल सकी है आज तक | सार्थक अभिव्यक्ति शैल जी |
हार्दिक आभार आप सभी आत्मीयजन का
जानकर आम जन क्या करे कोई तो होगा जो इनके समाधान के लिए लड़ेगा आपने लिखकर किसी को आह्वान किया है कि कार्य करने के लिए कितना क्षेत्र पड़ा है कवि को साधुवाद
अप्रतिम रचना ... हार्दिक बधाई कविता जी।
जान भी लोगे तो क्या करोगे.शीर्षक आकर्षित करता है,सम्पूर्ण कविता में अभिव्यक्त पीड़ा और प्रश्न व्यथित करते हैं।सशक्त व्यंजना।बधाई कविता भट्ट जी।
जवाब देंहटाएंमन की पीड़ा को सशक्त शब्दों में बयाँ किया है ...
जवाब देंहटाएंयदि जान भी लोगे तो क्या कर लोगे।
जवाब देंहटाएंबहुत ही सशक्त भावाभिव्यक्ति।
हार्दिक बधाई आदरणीया दीदी को।
सादर 🙏🏻
आपकी लिखी रचना सोमवार. 20 दिसंबर 2021 को
जवाब देंहटाएंपांच लिंकों का आनंद पर... साझा की गई है
आप भी सादर आमंत्रित हैं।
सादर
धन्यवाद।
बहुत सुंदर अभिव्यक्ति।
जवाब देंहटाएंबहुत खूब
जवाब देंहटाएंगहन भाव उकेरे हैं मर्मस्पर्शी सृजन।
जवाब देंहटाएंसादर।
सटीक सार्थक, जान भी लो मान भी लो तो क्या हो जायेगा।
जवाब देंहटाएंसत्य और सत्य।
अभिनव सृजन।
सटीक कहा है आपने..
जवाब देंहटाएंक्या ही कर लेंगे इन सबका..
लाजवाब सृजन
वाह!!!
बहुत सुंदर अभिव्यक्ति हकीकत से रूबरू कराती हुई
जवाब देंहटाएंसच में सब जानकर भी कौन स्थिति बदल सकी है आज तक | सार्थक अभिव्यक्ति शैल जी |
जवाब देंहटाएंहार्दिक आभार आप सभी आत्मीयजन का
जवाब देंहटाएंजानकर आम जन क्या करे कोई तो होगा जो इनके समाधान के लिए लड़ेगा आपने लिखकर किसी को आह्वान किया है कि कार्य करने के लिए कितना क्षेत्र पड़ा है कवि को साधुवाद
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जवाब देंहटाएंअप्रतिम रचना ... हार्दिक बधाई कविता जी।